Sunday, October 27, 2013

देश ने अन्ना को पहली बार 27 फरवरी 2011 , रविवार , स्वामी रामदेव जी द्वारा आयोजित भ्रष्टाचार के खिलाफ रैली जिसका नाम भ्रष्टाचार के खिलाफ युद्ध (http://www.youtube.com/ watch? v=6nYwrKqiYFw&feature= related) रैली आयोजित की जहाँ लाखों लोग उपस्तिथ थे

"जय गुरु देव" मेरे बुद्धिमान मित्रों ! मेरी बात समझना | पहले तो अन्ना हज़ारे को महाराष्ट्र के बाहर कोई भी नहीं पहचानता था | इस देश ने अन्ना को पहली बार 27 फरवरी 2011 , रविवार , स्वामी रामदेव जी द्वारा आयोजित भ्रष्टाचार के खिलाफ रैली जिसका नाम भ्रष्टाचार के खिलाफ युद्ध (http://www.youtube.com/ watch? v=6nYwrKqiYFw&feature= related)  रैली आयोजित की जहाँ लाखों लोग उपस्तिथ थे आप इस रैली की विडियो YOUTUBE चैनल पर देख सकते हैं ! पहली बार उत्तर भारत में स्वामी रामदेवजी द्वारा आयोजित इस कार्येक्रम में अन्ना को लोगों ने देखा सुना | उस वक्त उन्होंने अपना परिचय दिया साथ ही वहाँ जमा भीड़ को देख अन्ना के भीतर ऐसा उत्साह उमड़ा कि उन्हें भी चाह होने लगी ऐसी क्यों अनशन से भीड़ के रुख को स्वयं की ओर मोड़ दिया जाय | जबकि वहाँ उपस्थित सुब्रमनियन स्वामी विश्वबंधु गुप्ता जी ने कड़े शब्दों में कांग्रेस कि द्वारा फैलाए जा रहे भ्रष्टाचार कि कड़े शब्दों में अपनी बात रखी जिसे किसी समाचार चैनल में दिखा तक नहीं गया क्योंकि जहाँ मीडिया को काँग्रेस खौफ था ! वहीं काँग्रेस को स्वामी रामदेव जी से भय प्रतीत हुआ | काँग्रेस किसी भी कीमत पर स्वामी रामदेव के समर्थन में जुटे लोगों को इकठ्ठा देखने वाली बात को हजम नहीं कर पा रही थी  और इस जमा भीड़ को बाटने के लिए अन्ना हजारे को प्रायोजित रूप से सामने लाया गया ! कुछ दिनों बाद अन्ना अनशन हुआ , मीडिया के प्रचार के बाद कुछ लोग इकट्ठे हो ही गए फलस्वरुप joint comitte कि बात तय हुई अन्ना को लगा वे जीत रहें, उन्हें ऐसे लगा पहेले round में ही मीडिया जनता उनके साथ है | अब काँग्रेस को लगा कि स्वामी रामदेव के समर्थकों ने अन्ना कि ओर रुख कर लिया  है !

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